दशलक्षण पर्व के छठे दिन उत्तम संयम धर्म पूजा कर मनाया सुगंध दशमी पर्व
मुजफ्फरनगर। भाद्रमाह शुक्ल में दिगंबर जैन समाज ने दशलक्षण पर्व के छठे दिन शुक्रवार को श्री दिगम्बर जैन मंदिर अतिशय क्षेत्र वहलना के साथ शहर और गांव-देहात के सभी जैन मंदिरों में उत्तम संयम धर्म की पूजा-अर्चना करते हुए जैन समाज के लोगों ने अग्नि में धूप प्रवाहित करके अपनी आत्मा को शुद्ध करते हुए सुगंध दशमी पर्व मनाया।
शुक्रवार की सुबह से ही शहर के सभी जैन मंदिरों में पूजा अर्चना करने के लिए जैन मंदिरों में भक्तों का तांता लगा रहा। बारिश के बीच जैन मंदिरों में आज के दिन महिलाएं निर्जल उपवास व व्रत रखकर विशेष पूजन अर्चन के साथ दान करती है। सुगंध दशमी की जैन दर्शन में बहुत मान्यता है। जैन दर्शन में आत्मा में एकाग्र का होना ही उत्तम संयम कहलाता है। जैन दर्शन यही सिखाता है कि प्रत्येक प्राणी को संयम में रहना चाहिए। सभी को विवेक पूर्ण कार्य करना चाहिए तथा हिंसा आदि से दूर रहना चाहिए। पर पदार्थ यानी मिथ्यात्व भाव, कषाय भाव, रागादि भाव, हिंसा भाव आदि का त्याग करना एवम पांचों इंद्रियों पर विजय प्राप्त करना उत्तम संयम धर्म है। वहीं दूसरी ओर नगर के प्रेमपुरी, जैन नगर, अबूपुरा, पारसनाथ, नई मंडी चौड़ी गली, मुनीम कालोनी, जैन मिलन विहार, महावीर चौक, सुरेंद्र नगर, अंबा विहार, रेनबो विहार सहित सभी जैन मंदिरों में सुगंध दशमी पर्व मनाया गया। श्री दिगम्बर जैन मंदिर अतिशय क्षेत्र वहलना में दशलक्षण पर्व के छठे दिन बाहरी क्षेत्रों से पूजन के लिए आने वाले भक्तों का भी सुबह से ही तांता लगा रहा। इस अवसर पर यहां पूजा अर्चना और सुगंध दशमी पर्व मनाने वालों में प्रमुख रूप से जैन समाज से जुड़े रोहित जैन अप्पू, विप्लव जैन, वैभव जैन, आशीष जैन, चंद्र जैन, विपिन जैन, अभिषेक जैन, मनीष जैन, विजय जैन, अमन जैन, अमित जैन, शशांक जैन, अभिनव जैन, सुबोध जैन, आशीष जैन, दिनेश जैन, गौरव जैन समेत काफी संख्या में भक्त मौजूद रहे।